न्यज खबरदार। देहरादून ।
जय हो शंभो नाथम… दिखने लगा असर, सर्वे संतु …का गजब असर, अब यहां मेयर करेंगे नगर आयुक्त का काम !
Rishikesh Nagar Nigam news Update: Mayor VS Municipal Commissioner, Local people are still waiting for resolving their basic problems.
तीर्थ नगरी ऋषिकेष में इन दिनों नगर निगम जनता को खूब सीख मिल रही है, आखिर मिले भी क्यों नहीं हालिया चुनाव के बाद नएं मेयर साहब की ताज पोशी जो हुई है, लेकिन मेयर साहब जरा पूर्व स्टाइल के हैं लिहाजा फैसले भी ताबड़ तोड़ वहीं के स्टाइल के ले रहे हैं । बहराल खामियाजा तो जनता को ही भुगतना पड़ता है इसलिए जनता बेचारी दूर से तमाशा देख रही है । गौरतलब है कि किसी भी नगर निगम में सरकारी काम काज का मुखिया नगर आयुक्त होते हैं और उनकी तैनाती शासन और सरकार करते हैं लेकिन यहाँ तो ऋषिकेश मेयर साहब हटाना चाहते हैं।
जय हो शंभो नाथम… दिखने लगा असर, सर्वे संतु …का गजब असर, अब यहां मेयर करेंगे नगर आयुक्त का काम !
लेकिन ऋषिकेश मेयर को ये बात उसके आका कब समझाएंगे कि उनको जिस काम के लिए चुना है, उनको वही काम करना चाहिए । गौरतलब है कि ऋषिकेश के नगर आयुक्त शैलेन्द्र को ईमानदार अधिकारियों की लिस्ट में सुमार किया जाता है । माना जा रहा है कि इन दिनों ऋषिकेश नगर निगम के मेयर और नगर आयुक्त में ठनी हुई है । आपको बता दें कि ऋषिकेश मेयर ने 4 अप्रैल को नगर निगम की बैठक बुलाई थी । ये बैठक में नगर आयुक्त के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाने के लिए बुलाई गई थी । इस बैठक की जानकारी जैसे ही शहर की की जनता को मिली तो लोगों ने फौरन आंदोलन की चेतावनी दे दी । शहर के दूसरे राजनीतिक दलों और शहर के जिम्मेंदार लोगों का भी कहना है कि नगर आयुक्त ईमानदार अधिकारी हैं । आनन- फानन में जन दबाव के चलते मेयर ने बोर्ड बैठक को फिलहाल निरस्त कर दिया है । लेकिन खास बात ये है कि चुनाव के वक्त जन सेवा का दम भरने वाले नेता आखिर कुर्सी मिलते ही जन भावनाओं के खिलाफ क्यों काम करते हैं ये बड़ी चिंतन का विषय जरूर है ।